यह एक गरीब पहाड़ी लड़की की कहानी है जिसे मुंबई की तकलीफों भरी जिंदगी जीनी पड़ती है पर वह अपनी आस्था नहीं छोड़ती। इसमें एक युवा की कहानी भी है जिसे सब जंगली कहते थे लेकिन क्या वास्तव में वह जंगली था यह तो उपन्यास पढ़कर ही पता चलेगा। About the Author कृश्न चन्दर हिन्दी और उर्दू के कहानीकार थे। उनका जन्म 23 नवंबर 1914 को वजीराबाद ज़िला गूजरांवाला (अब पाकिस्तान) में हुआ था। उनका बचपन पुंछ (जम्मू और कश्मीर) में बीता। उन्होंने अनेक कहानियाँ और उपन्यास लिखे हैं। उनके जीवनकाल में उनके बीस उपन्यास और 30 कथा-संग्रह प्रकाशित हो चुके थे।