Sri Ramcharitmanas: Adarsh Jeevan Ki Prerna

About The Book

श्री रामचरितमानस’ रामभक्ति की श्रद्धा की सरयू एवं भक्ति की भागीरथी है। जन-जन में प्रिय श्री रामचरितमानस के सागर में करोड़ों लोग गोता लगा चुके हैं और अद्भुत आनंद प्राप्त कर चुके हैं। इस सागर में ज्ञान के अनमोल रत्न भरे पड़े हैं। अधिकतर लोग रामचरिमानस की कथा तो जानते हैं पर इन दुर्लभ रत्नों से वंचित हैं। और फिर ऐसे कितने ही लोग हैं जो विभिन्न कारणों से रामचरितमानस का अध्ययन नहीं कर पाते हैं। प्रस्तुत पुस्तक श्री रामचरितमानस के अनमोल दोहों चौपाइयों छंदों सोरठों (सूक्तियों और उक्तियों) का 18 विषयों में विभक्त एक अ‍नुपम संकलन है। प्रत्येक विषय से जुड़ी चौपाइयों दोहों छंदों को एक चिंतनशील लेख के साथ सूत्र में पिरोया गया है।यह संग्रह एक प्रयास है ज्ञान के अनमोल रत्नों को सभी तक पहुँचाने का। श्री रामचरितमानस की सूक्तियाँ और उक्तियाँ उस युग में जितनी सार्थक थीं आज भी उतनी ही सार्थक हैं। कोई भी उक्ति और सूक्ति ऐसी नहीं है जिसमें कोई शिक्षा ना हो। केवल आवश्यकता है तो हमें उनका अनुकरण करने की। कितने ही विद्वानों बुद्धिजीवियों शिक्षाविदों राम भक्तों धर्म प्रेमियों के लिए पुस्तक की विषय सामग्री एक आसानी से उपलब्ध संदर्भ सूत्र के रूप में कार्य करेगी और एक अनुकूल मार्गदर्शिका सिद्ध होगी।
Piracy-free
Piracy-free
Assured Quality
Assured Quality
Secure Transactions
Secure Transactions
Delivery Options
Please enter pincode to check delivery time.
*COD & Shipping Charges may apply on certain items.
Review final details at checkout.
downArrow

Details


LOOKING TO PLACE A BULK ORDER?CLICK HERE